देहरादून: डिफेंस कॉलोनी में जमीन घोटाले के मामले में 15 सेवानिवृत्त सैन्य अधिकारियों समेत 16 लोगों के खिलाफ धोखाधड़ी और जालसाजी का मामला दर्ज किया गया है। आरोप है कि इन अधिकारियों ने दस्तावेजों में छेड़छाड़ कर कॉलोनी की खुली जमीनों को अवैध रूप से प्लॉट में बदलकर बेच दिया। इन जमीनों पर पार्क और अन्य सामुदायिक स्थान बनाए जाने थे, लेकिन साजिश के तहत इनका निजी लाभ के लिए उपयोग किया गया।
इस मामले की शिकायत डिफेंस कॉलोनी, डी-104, सेक्टर चार निवासी सेवानिवृत्त कर्नल रमेश प्रसाद ने दर्ज कराई थी। शिकायत के आधार पर पुलिस ने सैनिक सहकारी आवास समिति लिमिटेड, डिफेंस कॉलोनी के समय-समय पर पदाधिकारी रहे व्यक्तियों के खिलाफ मामला दर्ज किया है।
शिकायतकर्ता ने किए बड़े खुलासे शिकायतकर्ता कर्नल रमेश प्रसाद के अनुसार, सैनिक सहकारी आवास समिति की स्थापना 1964 में हुई थी और यह केंद्र सरकार के अनुदान से खरीदी गई जमीन पर बनी थी। इस कॉलोनी में केवल सैन्य सेवाओं से सेवानिवृत्त अधिकारियों और कर्मचारियों को ही प्लॉट बेचे जाने थे। कॉलोनी की जमीन में पार्क और अन्य सामुदायिक सुविधाओं के लिए विशेष स्थान छोड़ा गया था, लेकिन समय के साथ समिति के पदाधिकारियों ने इन खुली जमीनों को भी अवैध रूप से बेच दिया।
किन अधिकारियों पर दर्ज हुआ मुकदमा? जिन 15 सेवानिवृत्त सैन्य अधिकारियों और एक अन्य व्यक्ति पर मुकदमा दर्ज किया गया है, उनमें शामिल हैं:
- सेवानिवृत्त कर्नल आरएस कली
- वीरभान सिंह
- सेवानिवृत्त कर्नल एसम गुसाईं
- सेवानिवृत्त कर्नल आरएस पैन्यूली
- पूर्व कैप्टन टीपी कुंडलिया
- पूर्व कर्नल एसएल पैन्यूली
- सेवानिवृत्त कमांडेंट एसएस रावत
- सेवानिवृत्त लेफ्टिनेंट कर्नल एएस कंडारी
- सेवानिवृत्त लेफ्टिनेंट कर्नल पीएस राणा
- सेवानिवृत्त पीओएमए वीके नौटियाल
- सेवानिवृत्त लेफ्टिनेंट कर्नल सीपी सती
- सेवानिवृत्त लेफ्टिनेंट कर्नल जीएस बिष्ट
- सेवानिवृत्त स्क्वार्डन लीडर एसएस बिष्ट
- सेवानिवृत्त लेफ्टिनेंट एएस बिष्ट
- सेवानिवृत्त लेफ्टिनेंट कर्नल एसपीएस नेगी
- सेवानिवृत्त मेजर एमएस नेगी